✴जिंदगी धूल में गयी✴
✴जिंदगी धूल में गयी✴
बचपन गुजरा, लचकन में ।
जवानी गुजरी , रवानी में ।
बुजुर्गा गुजरा , तजुर्बा में ।
जोश गया , होश में ।
श्यान गयी , म्यान में ।
खवाब गया, नवाब में ।
जिंदगी बीती , हिन्दगी में ।
हसी बीती , खसी में ।
साँसे बीती , बातो में ।
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मैं मानता हूँ ,कि आप राष्ट्र से बहुत प्रेम करते हों । फिर भी आपकी कोई बात नहों सुनता हैं ।
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आपने livepustak को इतना प्यार दिया, कि आज बहुत कम समय में 1000 क्लीक हो गये ।
" धन्यवाद "
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